कांग्रेस ने खेला चुनावी दाव, पंजाब की कमान अब दलित नेता चरणजीत सिंह चन्नी के हाथ
नई दिल्ली। पंजाब में चुनावी कार्ड खेलते हुए कांग्रेस ने दलित नेता चरणजीत सिंह चन्नी को नया मुख्यमंत्री घोषित कर दिया है। इसी के साथ पिछले लंबे समय से पंजाब की सियासत में चल रहे घमासान पर अब विराम लगने के संकेत दिखाई दे रहे हैं। हरिश रावत ने ट्वीट कर बताया कि चरणजीत सिंह चन्नी को विधायक दल का नेता चुना गया है और वह पंजाब के नए मुख्यमंत्री होंगे। इसी के साथ पंजाब को पहला दलित मुख्यमंत्री मिल गया है। भारी उलटफेर के बीच चरणजीत सिंह चन्नी के लिए मुख्यमंत्री का रास्ता साफ हुआ है। कुछ देर पहले तक सुखजिंदर सिंह रंधावा का नाम आगे चल रहा था, लेकिन आखिरी मौके पर चन्नी के नाम का ऐलान किया गया। बताते चलें कि चरणजीत सिंह चन्नी को कैप्टन अमरिंदर सिंह का धुर विरोधी नेता माना जाता है। सूत्रों का कहना है कि प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष नवजोत सिंह सिद्धू ने चन्नी के नाम की जोरदार पैरवी की और फिर राहुल गांधी ने दिल्ली में लंबी मंत्रणा के बाद चन्नी के नाम को मंजूरी दी। विधायक दल का नेता चुने जाने के बाद वह राज्यपाल से मिलने के राजभवन गए। इस मौके पर उनके साथ नवजोत सिंह सिद्धू और हरीश रावत भी नजर आए थे। बता दें कि चरणजीत सिंह चन्नी, पंजाब में कांग्रेस के दलित चेहरा माने जाते हैं। कैप्टन की सरकार में रहने के साथ साथ उनके पास विपक्ष में रहने का भी अनुभव है। पंजाब की राजनीति पर नजर रखने वाले जानकार मानते हैं कि चरणजीत के जरिए कांग्रेस ने चुनावों से पहले दलित कार्ड फेंका है। राज्य में दलितों की करीब 20 फीसदी आबादी है, पिछले चुनावों में यह वोटबैंक बिखरा हुआ नजर आया था। ऐसे में इसे कांग्रेस की दलितों के बिखरे हुए वोटों को एकजुट करने की कवायद के तौर पर देखा जा रहा है।